What are the Advantages and Disadvantages of Nanotechnology in Hindi

Nanotechnology
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नमस्कार दोस्तों, आज के इस आर्टिकल में आप पढ़ेंगे कि Nanotechnology के क्या – क्या फायदे और नुकसान होते है? इस पहले के आर्टिकल में हमने पढ़ा था कि नैनोटेक्नोलाजी क्या होती है? यह टेक्नोलॉजी क्या कर सकती है और इसके कुछ फायदों के बारे में भी पढ़ा था।  हमने इसके इतिहास के बारे में भी पढ़ा था कि यह टेक्नोलॉजी कब और कहा से शुरू हुई थी और किस तरह यह टेक्नोलॉजी धीरे – धीरे बढ़ती ही जा रही है।

 



नैनोटेक्नोलाजी क्या होती है – What is Nanotechnology?

Nanotechnology एक ग्रीक शब्द “नैनोस” से बना है। नैनोस मतलब छोटा या बोना। नैनोटेक्नोलाजी एक ऐसी फील्ड है जिसमे हम atomic level पर इंजीनियरिंग करते है। इस टेक्नोलॉजी के इस्तेमाल से हम 100 नैनोमीटर से कम size पर काम कर सकते है। इसकी मदद से हम बहुत ही छोटे – छोटे उपकरण (Devices) बना सकते है, जिससे हमारे उपकरण का वजन काफी कम रहता है और साथ ही इसकी काम करने की efficiency बढ़ जाती है और यह energy भी कम इस्तेमाल करता है। 

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नैनोटेक्नोलाजी के फायदे – Advantages of Nanotechnology

नैनोटेक्नोलाजी के काफी सारे फायदे होते है जो कि नीचे बताये गए है –

  • नैनो टेक्नोलॉजी की मदद से हम नैनो के आकर में पदार्थ को आसानी से नियंत्रित कर सकते है और काफी छोटे – छोटे उपकरण बना सकते है। नैनोटेक्नोलॉजी से काम आने वाले उपकरण (Devices) को नैनोमटैरियल्स बोला जाता है। 

  • नैनोटेक्नोलॉजी की मदद से खाद बनाई जा सकती है, जिससे फिर फसल के उत्पादन को अच्छे से बढ़ाया जा सकता है।

  • Nanotechnology का इस्तेमाल से हमारे कंप्यूटर और electronic devices में काफी पहले से ही हो रहा है। जैसे कंप्यूटर के circuit और प्रोसेसर को बनाने के लिए जिस silicon का इस्तेमाल किया जाता है वो एक अर्धचालक (semiconductor) है। 

  • आज से कुछ सालो बाद, इस टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल बल्ब में भी होगा। जिसकी वजह से बिजली की खपत भी काफी कम हो जाएगी और साथ ही रौशनी भी ज्यादा होगी। 

  • इस टेक्नोलॉजी की मदद से हम कैंसर की करोड़ों कोशिकाओं में से किसी एक को अलग से पहचान कर उसका इलाज कर पायेंगे। 

  • नैनोटेक्नोलाजी एक ऐसी टेक्नोलॉजी है जिसकी मदद से हम छोटे – छोटे रोबोट बना सकते है जो कि हमारे शरीर में जाकर सर्जरी कर पाएंगे। 

  • नैनो टेक्नोलॉजी में किसी भी मटेरियल का मॉलीक्यूलर असेंबलिंग को समझकर, हम उसके आकार को एक बाल जितना छोटा बनाया जा सकता है। जिससे फिर इसकी प्रोसेसिंग करने की क्षमता भी काफी बेहतर हो जाएगी। 

  • आने वाले समय में ऐसा कोई क्षेत्र नहीं होगा, जिसमे नैनो टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल नहीं हो। कुछ तकनीकी जानकारों का यह मानना है कि आने वाला समय नैनो टेक्नोलॉजी का होने वाला है। 

 

नैनोटेक्नोलाजी के नुकसान – Disadvantages of Nanotechnology

नैनोटेक्नोलाजी के कुछ नुक्सान भी होते है जो कि नीचे बताये गए है –

  • Nanotechnology की process से तैयार लिपस्टिक या सनस्क्रीन जैसी चीजों से नैनो पार्टिकल्स हमारी त्वचा (skin) में जाकर खून में मिल जाते हैं। जिसके कारण फिर स्किन कैंसर से लेकर लंग कैंसर तक का खतरा भी हो सकता है।

  • नैनोटेक्नोलॉजी इंडस्ट्री का waste material जमीन पर डाल दिया जाता है, जो कि फिर आगे जाकर food chain के जरिए हमारे शरीर में प्रवेश करता है।

  • इस टेक्नोलॉजी की वजह से आने वाले समय में manufacturing और agricultural की नौकरी ख़त्म होने लगेगी। 

  • Nanotechnology से इंसानो और वातावरण को काफी खतरा हो सकता है।
     
  • इस टेक्नोलॉजी से वेपन की शक्ति काफी बढ़ जाएगी, जिसकी वजह से मानवजाति खतरे में पड़ सकती है। 

 

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